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शनिवार, 20 अप्रैल 2013

ब्लड प्रेशर कंट्रोल करने का फंडा!


images.jpgउच्चरक्तचाप आज एक सामान्य समस्या के रूप में लोगों को परेशान कर रहा हैI क्या है यह ब्लड प्रेशर? खून की नलियों में बह रहे रक्त द्वारा नलिकाओं की दीवारों पर उत्पन्न दवाब रक्तचाप कहलाता है  I यदि हम सिर्फ ब्लड प्रेशर शब्द का इस्तेमाल करते हैं तो इसका अर्थ रक्त संचरण के दौरान  धमनियों (आर्टरीज ) के दवाब से है Iप्रत्येक हार्ट-बीट के दौरान यह हृदय के सिकुड़ने (सिस्टोल) एवं फैलने (डायसटोल ) से उत्पन्न होता है यह दवाब !यहाँ हम इसकी विस्तृत चर्चा न करते हुए केवल संक्षिप्त में यह बताना चाहेंगे कि इसे नियंत्रण में रखना आवश्यक हैI  हालाकि रक्तचाप व्यक्ति से व्यक्ति का तथा समय के अनुसार परिवर्तित हो सकता है ,लेकिन फिर भी अगर किसी व्यक्ति में उच्चरक्तचाप के कोई लक्षण न हों तो112/64 mmHg को सामान्य माना जाता है !यह  दोपहर   को अपने उच्चतम स्तर पर होता है तथा रात्रि में न्यूनतम स्तर को मेंटेन करता है I..इसके अलावा उम्र ,लिंग आदि के अनुसार भी यह अलग-अलग हो सकता है 
उम्र अनुसार यह निम्न प्रकार से होता है :-
 
 
 

अवस्था    लगभग आयु              सिस्टोलिक दवाब mmHg            डायस्टोलिक दवाब mmHg
 Infants                            1 -12 Month75-100 50-70                                       
Toddlers1-4 Year80-11050-80
Pre-schoolers 3-5 Year80-11050-80
School Age 6-13 Year85-12050-80
Adoloscent13-18 Year95-14060-90

 
रक्तचाप को नियंत्रित करने हेतु कुछ टिप्स हम आपके समक्ष  प्रस्तुत कर रहे हैं :-
*वजन बढ़ने के साथ साथ रक्तचाप भी बढ़ जाता है अतः वजन को नियंत्रित करना रक्तचाप को नियंत्रित करने की सफल कुंजी है! !
इसके लिए हमें अपने कमर की साइज़ पर ध्यान देना आवश्यक है ,यदि  वयस्क पुरुष की कमर का साइज़ चालीस इंच से अधिक हो और महिलाओं का पैंतीस इंच से अधिक तो आप खतरे की जद में हैं!
* रक्तचाप को नियंत्रित करने हेतु नियमित व्यायाम लगभग तीस से साठ मिनट तक का आवश्यक है ,यह आपके रक्तचाप को चार से नौ मिलीमीटर तक कम कर देता हैI हाँ, यदि आप रक्तचाप के रोगी हों तो इस बारे में आपके चिकित्सक की सलाह आवश्यक है ! बस ध्यान रखें की एक साथ अत्यधिक़ व्यायाम आपके लिए रिस्की हो सकता है !
*भोजन में रेशेदार अन्न,फलों एवं सब्जियों की प्रचुर मात्रा जिनमें फैट की मात्रा कम हो आपके लिए हितकारी है  !
इसके लिए आप अपनी फ़ूड-डायरी बना सकते हैं जिससे आप अपने खाने की आदतों पर खुद का नियंत्रण रख सकें !
-भोजन में पोटेशियम से युक्त तत्वों की मात्रा को बढ़ाकर आप सोडीयम के रक्तचाप पर पढने वाले प्रभाव को कम कर सकते हैं इसके लिए फल एवं सब्जियां एक बेहतर विकल्प है !
-भोजन में जंक फ़ूड या फास्ट फ़ूड को लेने से बचें !
-आपके भोजन में सोडीयम की मात्रा में की गयी कमी आपके रक्तचाप को दो से आठ mmHg तक कम कर सकती है ,इसके लिए आप अपने साल्ट इन्टेक पर नजर रखें, भोजन में कम सोडीयम वाले विकल्पों का चयन करें ,प्रोसेस्ड फ़ूड को यथासंभव लेने से बचें !आप शायद जानते हों की एक चम्मच  टेबल साल्ट में 2300 mgसोडीयम पाया जाता है ,अतः आप नमक के स्थान पर किसी प्राकृतिक वनस्पति साग या घरेलु मसाले का प्रयोग कर सकते हैं ,यदि आप एक बार नमक की मात्रा कम न कर पा रहे हों तो इसे क्रमिक रूप से करें !
-शराब का सेवन आपके रक्तचाप पर सकारात्मक और नकारात्मक दोनों तरह  के प्रभाव डालता है अतः इसके सेवन से यथासंभव बचें !! इसी आर्टिकल को आप दैनिक भासकर जीवन मंत्र की इस लिंक पर जाकर भी पढ़ सकते हैं ! http://religion.bhaskar.com/article/FM-HL-expert-advice-blood-pressure-special-way-to-prevent-and-control-4240979-PHO.html?seq=2

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